उत्तर प्रदेश के इटावा। संयुक्त जिला अस्पताल परिसर में बना रैन बसेरा अव्यवस्थाओं का शिकार है। बारिश के दिनों में गोवंश रैन बसेरे में डाले हैं। वहीं, मरीजों के तीमारदार रैन बसेरे के बाहर सो रहे हैं। बिजली न होने की वजह से रैन बसेरे में अंधेरा पसरा रहता है। संयुक्त जिला अस्पताल में पुरुष और महिला दो अस्पताल संचालित हैं। दोनों में 300 बेड के वार्ड बने हुए हैं। इसमें प्रतिदिन लगभग 50 से 60 लोग भर्ती रहते हैं। महिला वार्ड में पुरुषों के रुकने की अनुमति नहीं है। उनके रुकने के लिए परिसर में ही एक रैन बसेरा बनवाया गया है। वह भी अव्यवस्थाओं का शिकार है। दिन हो या रात गोवंश डेरा डाले रहते हैं। इससे गोबर आदि गंदगी रैन बसरे में बिखरी पड़ी रहती है। वहीं, बिजली भी न होने से अंधेरा पड़ा रहता है। पंखे भी नहीं चल पाते हैं। आम दिनों में तीमारदार किसी तरह बाहर सोकर काम चला लेते हैं, लेकिन बारिश के दिनों में परिसर में जलभराव हो जाता है और तीमारदारों को मुश्किल हो जाती है। रैन बसेरा में अव्यवस्था व्याप्त होना कोई नई बात नहीं है। पिछले साल रैन बसैरा के अंदर बनी अलमारी के अंदर दवाएं व शराब की बोतलें मिलने को लेकर काफी हल्ला मचा था। बावजूद इसके काेई सुधार नजर नहीं आ रहा है। इस दौरान तत्कालीन महिला सीएमएस डॉ. कजली गुप्ता ने रैन बसेरा की सुरक्षा के लिए दो गार्ड नियुक्त करने व रैन बसेरा में रुकने के लिए आधार कार्ड को अनिवार्य करने की बात कही थी। लेकिन ऐसा कुछ भी नजर नहीं आ रहा है। सिवाए अव्यवस्थाओं के, लेकिन इसका खामियाजा तीमारदारों को भुगतना पड़ रहा है। बिजली और गंदगी की वजह से वह रात में ठीक से सो भी नहीं पा रहे हैं। सारंगपुरा गांव के सौरभ यादव ने बताया कि उसके दोस्त विनीत का करीब चार दिन पहले जिला अस्पताल में ऑपरेशन हुआ था। उसके परिवार की मदद करने के लिए एक रात मैं भी रुका था। रात बिताने के लिए रैन बसेरे में जाने की सोची तो गंदगी देखकर अंदर जाने की हिम्मत नहीं पड़ी। ऐसे में अस्पताल के बाहर खड़े ठेले में बैठकर रात बिताई। सरैया तिराहा निवासी रजनेश ने बताया कि एक दोस्त की पत्नी के बच्चा हुआ था। वह महिला अस्पताल में भर्ती थी तो सहयोग के लिए रात में हम भी गए थे। सोचा था रैन बसेरे में रात काट लेंगे, लेकिन अंधेरा और गंदगी देखकर जाने की इच्छा नहीं हुई। ऐसे में थोड़ी देर रुककर घर चले आए थे। रैन बसेरा के मामले में सीएमओ से बात करेंगे, जो भी कमी होगी दूर कराएंगे। रात में रैन बसेरा का निरीक्षण कर पता लगाएंगे। रैन बसेरे में यदि कोई अराजक तत्व मिला उसके खिलाफ एफआईआर कराएंगे। बिजली की समस्या दूर कराकर बल्ब लगवाएंगे।


































