उत्तर प्रदेश के औरैया जिले में जनपद में ट्रैक्टर ट्रॉली से लेकर अन्य व्यावसायिक वाहनों में सवारियां ले जाने पर पाबंदी है। बावजूद इसके इन वाहनों में सवारियां भरी जा रही हैं।हाईवे पर चलने वाले व्यावसासिक वाहन शहर के खानपुर-जालौन रोड के बीच व मंडी समिति के सामने वाहनों को सवारी भरने के लिए खड़ा करते हैं। सवारी के इंतजार में चालक वाहन को घंटा भर खड़ा रखते हैं। ऐसे में हाईवे पर चलने वालों वाहनों से दुर्घटना होने का खतरा रहता है।
बुलंदशहर में हाईवे पर श्रद्धालुओं से भरी एक ट्रैक्टर-ट्रॉली हादसे का शिकार हो गई। ट्रक की टक्कर से ट्रॉली में सवार 11 लोगों की मौत हो गई। जबकि 42 लोग घायल हो गए थे। हादसे के बाद मंगलवार को कानपुर-इटावा हाईवे पर खानपुर व जालौन चौराहे तक ट्रक, लोडर सहित ट्रैक्टर ट्रॉली चालक सवारियां भरते दिखे। दिबियापुर, बिधूना, एरवाकटरा, अजीतमल क्षेत्र के गांवों में लोग ट्रैक्टर पर सवारी कर रहे हैं।एरवाकटरा में यह दृश्य अक्सर देखने को मिलता है। यहां लोग कहीं जाने के लिए कार व अन्य वाहन नहीं करते। ट्रैक्टर ट्रॉली को किराये करके गंतव्य को जाते हैं।
उमरैन-किशनी रोड पर सवारी को ट्रॉली में बैठाकर जा रहा था। रात के समय यह टैक्टर ट्रॉली और भी जानलेवा हो जाती है। पर अधिकारी इस ओर ध्यान नहीं देते हैं।हाईवे और अन्य प्रमुख मार्ग पर वाहन खड़ा कर चालक सवारियां भरते नजर आते हैं। फिर भी जिम्मेदारों को इनकी धरपकड़ की याद तब आती है, जब कहीं कोई बड़ा हादसा हो जाता है।ट्रैक्टर की ट्रॉली में सवारी बैठाने वाले चालकों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। हाईवे पर भी जांच की जाएगी
			





















		    











