दिल्ली में गुरुवार सुबह एक बार फिर यमुना नदी उफान पर है। बीते बुधवार रात को जल स्तर 205 मीटर तक पहुंच गया था। वहीं अधिकारियों के मुताबिक, अभी यमुना का जलस्तर और बढ़ सकता है। पहाड़ों में हो रही भारी बारिश ने एक बार फिर राजधानी दिल्ली में खतरे की घंटी बजा दी है। दिल्ली में यमुना नदी का जल स्तर फिर से बढ़ गया है। बीते बुधवार की सुबह यमुना चेतावनी स्तर से ऊपर पहुंच गई थी। सुबह पांच बजे जलस्तर 205.43 तक पहुंच गया। हालांकि, देर रात तक जलस्तर 205 मीटर तक पहुंच गया। लेकिन गुरुवार सुबह एक बार फिर यमुना नदी उफान पर है। दिल्ली के लोहा पुल पर यमुना नदी उफान पर है। यमुना का जल स्तर खतरे के निशान से कभी ऊपर तो कभी नीचे बह रहा है। ऐसे में दिल्ली के निचले इलाकों में रहने वाले लोगों की मुश्किल को बढ़ा दिया है। वहीं अधिकारियों के मुताबिक, अभी यमुना का जलस्तर और बढ़ सकता है। लोहा पुल पर मंगलवार को यमुना नदी का जलस्तर 205.39 मीटर तक पहुंच गया था।केंद्रीय जल आयोग (सीडब्ल्यूसी) के आंकड़ों के अनुसार, जल स्तर में लगातार वृद्धि देखी जा रही है, जो मंगलवार की रात 10 बजे खतरे के निशान 205.33 मीटर को पार कर 205.39 मीटर हो गया। दिल्ली के निचले इलाकों में बाढ़ की आशंका बढ़ गई है। दिल्ली सरकार के सिंचाई और बाढ़ नियंत्रण विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि नदी के किनारे कुछ स्थानों पर निचले स्तर की बाढ़ आ सकती है, लेकिन गंभीर स्थिति की संभावना नहीं है। बता दें कि, इससे पहले जुलाई में भारी बारिश के दौरान यमुना ने 45 साल पुराना रिकॉर्ड तोड़ दिया था और अपने उच्चतम स्तर 208.65 मीटर पर पहुंच गई थी, जिसके कारण दिल्ली में कई निचले इलाकों में बाढ़ आ गई थी। दिल्ली सड़कें पानी में डूब गई थीं। मध्य जुलाई में राजधानी और पहाड़ों पर भारी वर्षा के कारण दिल्ली को भीषण बाढ़ का सामना करना पड़ा। 13 जुलाई को यमुना नदी रिकॉर्ड 208.66 मीटर तक बढ़ गई थी, जिससे पिछले रिकॉर्ड भी टूट गए थे। बीते कई सालों की तुलना में शहर में अधिक अंदर तक बाढ़ का पानी घुस आया था। बाढ़ग्रस्त इलाकों से 27000 से अधिक लोगों को निकाला गया। संपत्ति, कारोबार और कमाई के मामले में करोड़ों रुपये तक का नुकसान हुआ है।