हिमाचल प्रदेश के राजधानी शिमला में मॉनसून जमकर अपना कहर बरपा रहा है. शहर के अलग-अलग इलाकों से भूस्खलन की खबरें सामने आ रही हैं. इससे लोगों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है. शिमला शहर के अनाडेल वार्ड में बारिश ने इस कदर कहर बरपाया है कि लोग डर के साए में जीने को मजबूर हो गए हैं. बारिश के कारण यहां धंस गई और साथ बनी सड़क में भी दरारें आई गई हैं. हालात यह है कि पार्किंग के साथ सड़क किसी भी वक्त ढह सकती है.जमीन धंसने की वजह से विशालकाय पेड़ भी धंस गए हैं. इससे लोगों की रातों की नींद उड़ा गई है. स्थिति यह है कि कौमली बैंक की पार्किंग में दरारें आने से किसी भी वक्त इसके गिरने का खतरा बना हुआ है. वहीं, इसके साथ बने मकान भी खतरे की जद में हैं. ज़मीन धंसने से सड़क में आई दरारों के कारण लोगों को आवाजाही में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. अगर आने वाले दिनों में बारिश लगातार जारी रहती है, तो किसी भी समय कोई बड़ी दुर्घटना हो सकती है.वीरवार को शिमला शहर के विधायक हरीश जनारथा ने भी इस वार्ड का दौरा किया. उन्होंने लोक निर्माण विभाग को जल्द से जल्द इसे ठीक रहने के आदेश दिए हैं. इस दौरान मौके पर उनके साथ वार्ड पार्षद भी मौजूद रहीं. बता दें कि लोक निर्माण विभाग इस सड़क को ठीक करने का काम किया जा रहा है. विभाग पार्किंग और सड़क की नींव पर सपोर्टिंग वॉल लगाकर इसे बचाने की जुगत में लगे हुए हैं. हालांकि लगातार हो रही बारिश की वजह से परेशानी भी बढ़ती चली जा रही है. 18 जुलाई तक प्रदेश के कई इलाकों में मौसम खराब रहने का भी अनुमान है. इस बीच शिमला में भी बारिश की संभावना है ऐसे में लोगों को लगातार पार्किंग के ढहने का खतरा सता रहा है.हिमाचल प्रदेश सरकार को अब तक मानसून की बारिश की वजह से 2108.37 करोड़ रुपए का नुकसान हो चुका है. इसमें जल शक्ति विभाग को 1107.10 करोड़ रुपए, लोक निर्माण विभाग को 890.98 करोड़ रुपए बिजली विभाग को 103.28 करोड रुपए बागवानी विभाग को 75.27 करोड़ रुपए, शहरी विकास विभाग को 6.47 करोड़ रुपए का नुकसान हुआ है. मानसून की बारिश में 34 लैंडस्लाइड, बादल फटने और अचानक बाढ़ की घटनाएं रिकॉर्ड की गई हैं. इसके अलावा 57 रोड एक्सीडेंट और पहाड़ों से पत्थर गिरने की घटनाएं हुई. इन अलग-अलग घटनाओं में 91 लोगों की जान जा चुकी है. इसके अलावा 101 लोग घायल भी हुए हैं. लगातार हो रही बारिश की वजह से 636 घर पूरी तरह बर्बाद हो गए. वहीं, 1 हजार 128 घरों को आंशिक रूप से नुकसान पहुंचा. बारिश की वजह से 78 दुकानों, 612 पशु घरों को नुकसान हुआ और 592 जानवरों की जान चली गई.