उत्तर प्रदेश के इटावा ज़िले के बस्ती महेवा की कल्पना शर्मा ने मसाला पीसने की चक्की लगाकर स्वावलंबन की डगर पकड़ी। उन्होंने अन्य महिलाओं को भी अपने साथ जोड़ा।कल्पना गांव की महिलाओं का सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रही हैं। बताया कि उनके साथ 20 महिलाएं मसाले पीसने के काम में लगी हैं। वह सजावट का काम भी कर रही हैं। ग्राम संगठन के फंड से करीब दो लाख रुपये मिले हैं, जल्द ही इससे दोना और पत्तल बनाने की मशीन लगाने जा रहीं हैं। मशीन आ चुकी है।
इससे करीब 15 और महिलाओं को रोजगार मिल जाएगा। कल्पना ने बताया कि वह एमए पास हैं, पति भी गांव में दुकान किए हैं। दो बच्चे हैं। परिवार का खर्च चलाना मुश्किल हो रहा था। वर्ष 2015 में हैदराबाद से महिलाओं के आए दल से प्रेरित होकर स्वयं सहायता समूह से जुड़ीं और काम शुरू किया। मसाला चक्की लगाई धीरे-धीरे अन्य महिलाओं को जोड़ा। इससे आर्थिक स्थिति अच्छी होने लगी। महिलाएं चार से पांच हजार रुपये महीना कमा रही हैं।वह महिलाओं को ज्यादा से ज्यादा संख्या में आत्मनिर्भर बनाने के लिए कुछ और करने के बारे में सोच रही हैं।ये कदम बहुत महिलाओ को जीवनयापन का जरिया साबित होगी