उत्तर प्रदेश के औरैया। शासन ने परिषदीय विद्यालयों की तर्ज पर माध्यमिक विद्यालयों में शिक्षकों की योग्यता का बोर्ड लगाने का आदेश दिया है। जिले में शासनादेश बेअसर साबित हो रहा है। शिक्षा सत्र के सात माह बीत गए हैं। विद्यालयों में बोर्ड न लगने से शिक्षकों की योग्यता और अन्य जानकारियां सार्वजनिक नहीं हो पा रही हैं। विद्यालयों में शिक्षकों की तैनाती तो है, लेकिन शिक्षकों की अनियमित दिनचर्या से पठन-पाठन पर असर पड़ रहा है।
जिले में 15 राजकीय, 60 सहायता प्राप्त व 214 वित्तविहीन इंटर कॉलेज हैं। माध्यमिक विद्यालयों में तैनात शिक्षकों का नाम, शैक्षिक योग्यता, फोटो सहित विस्तृत विवरण को सार्वजनिक करने के लिए शासन की तरफ से विद्यालय परिसर में हमारे शिक्षक का बोर्ड लगाए जाने का फरमान जारी किया है। जिले के अधिकांश माध्यमिक विद्यालयों में बोर्ड नहीं लगाए गए हैं। जिले के अधिकांश माध्यमिक विद्यालयों में बोर्ड नहीं लगाए गए हैं। इस संबंध में जिला विद्यालय निरीक्षक श्याम प्रकाश यादव का कहना है कि इस मामले में जिले के सभी माध्यमिक विद्यालयों के प्रधानाचार्यों से रिपोर्ट मांगी गई है। लापरवाही करने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी